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इंडियन रिफाइनर घटा सकते हैं तेल का आयात, कच्चे तेल में तेजी एवं रुपये में गिरावट को थामने की तैयारी

इंडियन रिफाइनर घटा सकते हैं तेल का आयात, कच्चे तेल में तेजी एवं रुपये में गिरावट को थामने की तैयारी
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भारत जो कि कच्चे तेल का तीसरा सबसे बड़ा आयातक देश है तेल खरीद में कमी लाने पर विचार कर रहा है, ताकि कच्चे तेल में आए उबाल एवं रुपये की गिरावट के दर्द को कम किया जा सके। सीधे तौर पर इस मामले की जानकारी रखने वाले सूत्रों के मुताबिक दो अलग-अलग भारतीय रिफाइनर्स के जरिए यह जानकारी सामने आई है।

आयात में कटौती करने का यह फैसला बताता है कि कच्चे तेल की बढ़ती कीमतें और उभरते बाजारों की मुद्रा में आ रही कमजोरी उन बाजारों में तेल की मांग में गिरावट ला सकती है, जिन्हें अब तक कच्चे तेल की सबसे स्वस्थ्य खपत वाला देश माना जाता रहा है। सोमवार के कारोबार में दोपहर के एक बजे डब्ल्यूटीआई क्रूड 71.97 पर और ब्रेंट क्रूड 80.34 पर और ब्रेंट क्रूड 80.44 पर कारोबार करता देखा गया।

ब्रेंट क्रूड ने गुरुवार को 80 का स्तर पार कर लिया था, इसने इस साल 13 फरवरी को अपने निचले स्तर से 30 फीसद तक का उछाल दर्ज कराया। वहीं रुपये के टर्म में इसने 46 फीसद का उछाल दर्ज कराया है। भारतीय रुपये ने डॉलर के मुकाबले हाल ही में 72.99 का स्तर छू लिया था। भारतीय रिफाइनरों को कच्चे तेल के लिए भुगतान डॉलर में करना होता है और अगले साल आम चुनाव से पहले बढ़ती आयात लागत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार के लिए चिंता की बात है। गौरतलब है कि भारत अपनी जरूरत का 80 से 85 फीसद कच्चा तेल आयात करता है।इंडियन रिफाइनर घटा सकते हैं तेल का आयात, कच्चे तेल में तेजी एवं रुपये में गिरावट को थामने की तैयारी

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