चंद्र ग्रहण, 7 सितंबर 2025, सूतक काल, ज्योतिष, धार्मिक मान्यता, भारत में ग्रहण

चंद्र ग्रहण, 7 सितंबर 2025, सूतक काल, ज्योतिष, धार्मिक मान्यता, भारत में ग्रहण
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आने वाला 7 सितंबर 2025 का दिन खगोल विज्ञान और धार्मिक मान्यताओं दोनों के लिहाज से बेहद खास रहने वाला है। इस दिन चंद्र ग्रहण लगने जा रहा है, जिसे लेकर लोग पहले से ही जानना चाहते हैं कि इसका प्रभाव कब से कब तक रहेगा और यह भारत में दिखाई देगा या नहीं। चंद्र ग्रहण केवल वैज्ञानिक घटना नहीं है, बल्कि हिंदू धर्म में इसे विशेष महत्व दिया गया है, इसलिए सूतक काल और पूजा-पाठ के नियम भी इसके साथ जुड़ जाते हैं।

कब लगेगा चंद्र ग्रहण और सूतक काल का समय

पंचांग अनुसार, चंद्र ग्रहण का सूतक काल 7 सितंबर 2025 को दोपहर 12:19 बजे से आरंभ होगा और इसका समापन 8 सितंबर को तड़के 01:26 बजे होगा। हालांकि बच्चों, बुजुर्गों और बीमार लोगों के लिए सूतक का आरंभ शाम 06:36 बजे से माना जाएगा। इस दौरान मंदिरों के कपाट बंद कर दिए जाते हैं और धार्मिक अनुष्ठान नहीं किए जाते।

क्या भारत में दिखाई देगा यह चंद्र ग्रहण?

खगोल शास्त्रियों के अनुसार यह चंद्र ग्रहण भारत में दिखाई देगा और लोग इसे अपनी आंखों से देख पाएंगे। चंद्र ग्रहण के समय चंद्रमा पर पृथ्वी की छाया पड़ती है और यह घटना आम जनता के बीच आकर्षण का केंद्र बन जाती है। हालांकि ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, ग्रहण का असर प्रत्येक राशि पर अलग-अलग रूप से पड़ता है।

धार्मिक मान्यताएं और सावधानियां

हिंदू धर्म में ग्रहण काल के दौरान कई नियमों का पालन करने की परंपरा है। इस अवधि में भोजन, पूजा और शुभ कार्य वर्जित माने जाते हैं। कहा जाता है कि ग्रहण काल में मंत्रजप, ध्यान और भगवान का स्मरण करना अत्यंत फलदायी होता है। ग्रहण समाप्त होने के बाद स्नान और दान का भी विशेष महत्व बताया गया है।

यह लेख/समाचार लोक मान्यताओं और जन स्तुतियों पर आधारित है। पब्लिक खबर इसमें दी गई जानकारी और तथ्यों की सत्यता या संपूर्णता की पुष्टि की नहीं करता है।

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